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प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना का कैसे उठायें लाभ

खरीफ फसलों की बुवाई का समय नजदीक आ चुका है। कई राज्य इस वक्त गिरते भूजल स्तर के संकट से जूझ रहे हैं। ऐसे में सिंचाई के लिए कई तरह की समस्याएं खड़ी हो सकती हैं। केंद्र और राज्य सरकारें किसानों को इससे बचाने के लिए अनेकों योजनाएं चला रही हैं।

खरीफ के हर सीजन में किसानों के सामने सिंचाई को लेकर जलसंकट खड़ा हो जाता है। इससे निपटने के लिए प्रधानमंत्री कृषि सिंचाई योजना के तहत कच्चा और प्लास्टिक लाइनिंग फार्म पॉन्ड द्वारा सिंचाई के लिए बारिश के पानी को जमा किया जाता है। इसका इस्तेमाल बंजर पड़ी भूमि को खेतिहर और किसानों के जीविकोपार्जन के लायक बनाने का होता है।

खेत में तालाब बनवाने पर मिलेगी सब्सिडी

किसान फार्म पॉन्ड योजना के तहत राजस्थान सरकार 1200 घन मीटर वाले कच्चे फार्म पॉन्ड व प्लास्टिक लाइनिंग फार्म पॉन्ड के निर्माण पर लघु और सीमांत कृषकों को लागत का 70 प्रतिशत ( 73500रुपया या 105000रुपया) सब्सिडी के रूप में देती है। वहीं, अन्य किसानों को लागत का 60 प्रतिशत (63000रुपया या 90000रुपया) अनुदान के रुप में दिया जाता है।

किस आकार के तालाब पर दी जाएगी सब्सिडी?

फार्म पॉन्ड का आकार 1200 घन मीटर से कम और न्यूनतम 400 घन मीटर होने पर प्राथमिकता के आधार पर अनुदान दिया जाता है। 400 घन मीटर से कम आकार वाले फार्म पॉन्ड पर अनुदान नहीं दिया जाएगा। कच्चा और प्लास्टिक लाइनिंग फार्म पॉन्ड में सब्सिडी को लेकर इच्छुक किसान नजदीकी ई-मित्र केंद्र पर जाकर राज किसान साथी पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन कर सकते हैं। इस योजना के लिए लाभार्थियों का चयन पहले आओ पहले पाओ के आधार पर किया जाएगा।

इन दस्तावेजों का होना जरूरी

नवीनतम जमाबंदी ( 6 माह तक) ई हस्ताक्षरित या पटवारी द्वारा जारी।

प्रमाणित नक्शा ट्रेश नवीनतम ( 6 माह तक) ई हस्ताक्षरित या पटवारी द्वारा जारी।

प्रमाणित लघु एवं सीमांत प्रमाण पत्र।

जन आधार कार्ड (इसमें अपना खाता नम्बर, मोबाइल नम्बर एवं कृषक श्रेणी - लघु / सीमांत अपडेट करवाएं)।

बैंक पासबुक आदि साथ लेकर जाएं व राज किसान साथी पोर्टल पर आनलाइन आवेदन करें।

किसानों के पास 0.3 हेक्टेयर भूमि होना जरूरी

फार्म पॉन्ड पर अनुदान के लिए किसानों के पास न्यूनतम 0.3 हैक्टेयर जमीन का होना आवश्यक है। पॉन्ड का निर्माण घनी आबादी और सड़क के किनारे से कम से कम 50 फीट की दूरी पर होना चाहिए, जिसमें बोर्ड पर लाल स्याही से सावधान आगे गहरा गड्ढा है इस तरह से लिखा होना चाहिए। अगर किसान अलग-अलग खसरों में फार्म पॉन्ड निर्माण कर रहा है तो अलग अलग अनुदान देय है, लेकिन एक खसरे पर एक बार ही अनुदान दिया जाएगा।

ऐसे किया जाएगा तालाब का निर्माण

कृषि विभाग द्वारा प्रशासनिक स्वीकृति के उपरांत फार्म पॉन्ड का निर्माण किसान के द्वारा स्वयं के खर्चे पर मजदूर, ट्रैक्टर या जेसीबी के द्वारा करवाया जाएगा। इसकी लंबाई-चौड़ाई में ऊपरी हिस्सा 24.5 मीटर व निचली सतह 15.5 मीटर तथा गहराई 3 मीटर रहेगी। फार्म पॉन्ड की ऊपरी सतह से एक मीटर जगह छोड़कर एक मीटर की ऊंचाई में मेड़बंदी करें। फार्म पॉन्ड के चारो तरफ जालीदार तारों से तारबंदी की जाएगी ताकि बच्चे, मनुष्यों और आवारा पशुओं को गहरे गड्ढे में गिरने से बचाया जा सके। प्लास्टिक लाइनिंग वाले फार्म पॉन्ड के निर्माण के बाद कृषि विभाग द्वारा पंजीकृत ब्रांड की न्यूनतम 300 माइक्रोन की प्लास्टिक शीट को स्थापित किया जाना आवश्यक होगा।

इन्हें नहीं मिलेगा लाभ

किसी भी ट्रस्ट, सोसाइटी, स्कूल, कॉलेज, मंदिर, धार्मिक संस्थान को इस योजना का लाभ नहीं दिया जाएगा। कृषि विभाग के अधिकारियों, कर्मचारियों भौतिक सत्यापन, जांच के बाद किसानों को उनके जन-आधार कार्ड में जुड़े बैंक खातों में अनुदान राशि भेज दी जाएगी।